भव्य एवं विशाल शोभायात्रा के साथ शुरू हुई 1008 श्रीमद्भागवत कथा
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REPORT BY GOPAL CHATURVEDI
VRINDAVAN NEWS।
छीपी गली स्थित ठाकुर श्रीप्रिया वल्लभ कुंज के सेवायत आचार्य श्रीहित ललित वल्लभ नागार्च इन दिनों तिल्दा नेवरा (छत्तीसगढ़) में 1008 श्रीमद्भागवत कथा कहने गए हुए हैं।
कथा से पूर्व श्रीमद्भागवत की भव्य एवं विशाल शोभायात्रा गाजे-बाजे के साथ निकाली गई।जिसमें सैकड़ों महिलाऐं पीत वस्त्र पहने एवं सिर पर मंगल कलश धारण किए साथ चल रहीं थीं।
शोभायात्रा का जगह-जगह नगर वासियों ने पुष्प वर्षा कर, रंगोली सजाकर एवं आरती उतारकर स्वागत किया।इसके अलावा असंख्य भक्त – श्रृद्धालु श्रीराधा-कृष्ण की महिमा से ओतप्रोत भजनों पर नाचते-झूमते हुए शोभायात्रा में शामिल हुए।भक्ति भाव से परिपूर्ण समूचा तिल्दा नेवरा नगर वृन्दावनमय हो गया।
श्रीमद्भागवत कथा के मुख्य आयोजक अमित चावल उधोग (तिल्दा नेवरा) के द्वारा शोभायात्रा में शामिल सभी भक्तों – श्रृद्धालुओं को प्रासद वितरण किया गया।तत्पश्चात श्रीमद्भागवत ग्रंथ का वैदिक मंत्रोच्चार के मध्य पूजन-अर्चन किया गया।
व्यासपीठ पर आसीन आचार्य श्रीहित ललित वल्लभ नागार्च ने श्रीमद्भागवत की महिमा बताते हुए कहा कि श्रीमद्भागत महापुराण साक्षात भगवान श्रीकृष्ण का वांग्यमय स्वरूप है।इसमें और भगवान श्रीकृष्ण में कोई भेद नहीं है।ये ग्रंथ जीव के लिए कल्याण व मोक्ष का द्वार है।
इस अवसर पर राजू अग्रवाल, अमित अग्रवाल, संजय अग्रवाल, अमिताभ अग्रवाल, अनिल अग्रवाल, मुल्कराज शर्मा, आचार्य श्रीहित रसिक वल्लभ नागार्च, भरत शर्मा, तरुण मिश्रा, साकेत खत्री, हितवल्लभ नागार्च आदि के अलावा विभिन्न क्षेत्रों के तमाम गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।
ठा. श्रीराधा दामोदर लाल को धारण कराया विशेष स्वर्ण भेष श्रृंगार
वसंत कुंज क्षेत्र स्थित प्राचीन ठाकुर श्रीराधा दामोदर मंदिर में मंदिर के प्रमुख सेवायत आचार्य कनिका प्रसाद गोस्वामी महाराज (बड़े गुसाईं) के पावन सानिध्य में चल रहे सेवा महोत्सव के अन्तर्गत सेवायत व अंगसेवी आचार्य दामोदरचंद्र गोस्वामी के द्वारा ठाकुर विग्रहों का अत्यन्त नयनाभिराम व चित्ताकर्षक विशेष स्वर्ण भेष श्रृंगार धारण कराकर उन्हें भव्य फूल बंगले में विराजित किया गया।साथ ही ठाकुरजी को 56 भोग निवेदित करके विशेष आरती की गई।
तत्पश्चात संत, ब्रजवासी, वैष्णव सेवा एवं वृहद भंडारा आदि के कार्यक्रम सम्पन्न हुए। मंदिर के प्रमुख सेवायत आचार्य कनिका प्रसाद गोस्वामी महाराज (बड़े गुसाईं) ने कहा कि श्रीधाम वृन्दावन के प्राचीन सप्त देवालयों में से एक ठाकुर श्रीराधा दामोदर मंदिर की परम्परा अति प्राचीन व प्रतिष्ठित हैं।यहां गौडीय संप्रदाय की परम्परानुसार ठाकुर विग्रहों का नित्य नवीन श्रृंगार किया जाता है।
इसी क्रम में आज ठाकुर श्रीराधा दामोदर लाल जू महाराज को विशेष स्वर्ण भेष श्रृंगार धारण कराया गया है।जिसके दर्शन करने से भक्तों के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं।साथ ही उन्हें सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है।
महोत्सव के अंतर्गत देश-विदेश से आए असंख्य भक्त-श्रद्धालुओं ने संगीतमय हरिनाम संकीर्तन के मध्य नाचते-झूमते हुए ठाकुर श्रीराधा दामोदर महाराज के दर्शन कर मंदिर की चार परिक्रमा की।
इस अवसर पर ब्रज साहित्य सेवा मण्डल के अध्यक्ष डॉ. गोपाल चतुर्वेदी, ब्रजभूमि कल्याण परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष पण्डित बिहारीलाल वशिष्ठ, प्रमुख भाजपा नेता पण्डित योगेश द्विवेदी, युवा साहित्यकार डॉ. राधाकांत शर्मा, प्रमुख समाजसेवी पण्डित सुरेशचंद्र शर्मा आदि के अलावा विभिन्न क्षेत्रों के तमाम गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।