ACCIDENT : घायल युवक की मौत के बाद परिजनों ने काटा हंगामा
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REPORT BY MADHAV BAJPAYEE
AMETHI NEWS I
15 दिन पहले सड़क दुर्घटना में घायल युवक की इलाज के दौरान मौत हो जाने के बाद परिजन और ग्रामीण आक्रोशित हो गए।बड़ी संख्या में परिजनों और ग्रामीणों ने शव को थाना व अस्प्ताल गेट पर ही रखकर प्रदर्शन शुरू कर दिया।मामला थाने के बगल होने के कारण चार थानों की फोर्स और पीएसी को मौके पर तैनात किया गया।करीब साढ़े चार घंटे चले हंगामे के बाद सीओ ने मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया जिसके बाद परिजन शांत हुए।पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
पूरा मामला 24 जुलाई को इसी थाना क्षेत्र के पाली मार्ग पर पूरे बक्शी मोड़ के पास दो बाइकों की आमने सामने टक्कर में चार लोग घायल हो गए थे। जिसमें से तीन लोगों की हालत गंभीर होने पर चिकित्सकों द्वारा जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया था। लेकिन परिजन निजी अस्पताल में ले जाकर इलाज करा रहे थे जहाँ शाम को 70 वर्षीय श्यामपता पत्नी देवनरायन की मौत हो गई थी।
श्यामपता का 38 वर्षीय बेटा जमुना प्रसाद को इलाज के लिए ट्रामा सेंटर ले जाया गया।इलाज के दौरान स्वास्थ्य में कुछ सुधार होने पर परिजन जमुना प्रसाद को घर लाए लेकिन तीन अगस्त को फिर से हालत खराब होने पर परिजन उसे बीएचईएल जगदीशपुर ले गये। जहां इलाज के दौरान आज सुबह जमुना प्रसाद की मृत्यु हो गई। जिसपर परिजन शव लेकर थाने व सीएचसी बाजार शुकुल पहुंचे।
सैकड़ों ग्रामीणों के साथ परिजन पुलिस पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाते हुए थाने के गेट पर प्रदर्शन करने लगे। घटना के बाद पुलिस ने मृतक की भयहू की तहरीर पर अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था।परिजन मृतक की पत्नी मालती देवी की तहरीर पर नामजद मुकदमा दर्ज करने की मांग कर रहे थे।
कई थानों की बुलानी पड़ी फोर्स
भीड़ को आक्रोशित देख जगदीशपुर, कमरौली और भाले सुल्तान थाने की पुलिस व पीएसी बल मौके पर बुलाया गया।
सीओ के आश्वासन पर माने परिजन व ग्रामीण
सीओ मुसाफिरखाना अतुल सिंह ने परिजनों को मृतक की पत्नी की तहरीर पर मुकदमा दर्ज करने व आरोपी की गिरफ्तारी का भरोसा दिलाया तब जाकर परिजन शांत हुए। जिसके बाद पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
मासूम बच्चों के सिर से उठा पिता का साया
हादसे में मृतक हुआ जमुना प्रसाद यादव पेट्रोल पंप पर नौकरी करता था।जिससे परिवार का भरण पोषण करता था। मृतक जमुना प्रसाद की तीन बेटे थे ।जिनमें बेटी मानवी,सुप्रिया व बेटा मनीष है।उसकी मौत से तीन मासूम बच्चों के सिर से पिता का साया उठ गया। पत्नी मालती भी बेसहारा हो गई। उसका रोकर बुरा हाल है।
मालती देवी धाड़ें मारकर रो रही थी। पति को पुकारते हुए वह पूछ रही थीं कि किसके भरोसे उन्हें छोड़कर चले गए।अब उसका परिवार कैसे चलेगा और वह किसके सहारे जीवन काटेगी। मां के साथ बेटा मनीष भी बिलख रहा था I