HEALTH AWARENESS WORKSHOP : सर्वाइकल कैंसर महिलाओं में होने वाला विश्व में चौथा आम कैंसर
1 min readREPORT BY AMIT CHAWLA
LUCKNOW NEWS I
राष्ट्रीय सेवा योजना, राष्ट्रीय कैडेट कोर, 1090, क्यू-क्लब/स्वास्थ्य क्लब, एवं समुदाय एवं प्रसार सेवा विभाग, श्री रामस्वरूप मेमोरियल विश्वविद्यालय द्वारा गार्गी बालिका छात्रावास की बालिकाओं के साथ सर्वाइकल कैंसर पर जागरूकता कार्यशाला का आयोजन किया गया।
कार्यशाला का उद्घाटन विश्वविद्यालय की कुलसचिव, प्रो0 (डा0) नीरजा जिंदल ने मैक्स हेल्थ केअर की वरिष्ठ परामर्शदाता/स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ डॉ0 मंजूषा, इनर ह्वील क्लब, लखनऊ- प्रेरणा की अध्यक्ष अनुभा गुलाटी तथा समुदाय एवं प्रसार सेवा विभाग की उपनिदेशक डॉ0 वीना सिंह तथा राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी डॉ0 अनिल कुमार की उपस्थिति में किया।
इस विषय के मुख्य वक्ता के रूप में मैक्स हेल्थ केअर की वरिष्ठ परामर्शदाता स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ डॉ0 मंजूषा ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार दुनिया में सर्वाइकल कैंसर महिलाओं में हाने वाला चौथा सबसे आम कैंसर है।
सन् 2022 में लगभग 660,000 नए मामले सामने आए, जबकि सर्वाइकल कैंसर से होने वाली 350,000 मौतों में से लगभग 94 प्रतिशत मौतें निम्न और मध्यम आय वाले देशों में हुईं।
सर्वाइकल कैंसर के बोझ में क्षेत्रीय अंतर, कम टीकाकरण, स्क्रीनिंग में देरी और उपचार सेवाओं तक पहुंच में असमानताओं, एचआईवी प्रसार सहित लैंगिक पूर्वाग्रह और गरीबी जैसे सामाजिक-आर्थिक निर्धारक हैं। सामान्य आबादी की तुलना में एचआईवी से पीड़ित महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर विकसित होने की संभावना 6 गुना अधिक है।
सर्वाइकल कैंसर यौनिक रूप से सक्रिय महिलाओं में ह्यूमन पैपिलोमावायरस (एच.पी.वी.) एक सामान्य यौन संचारित संक्रमण है जो मुख्य रूप से जननांग क्षेत्र/गर्भाशय ग्रीवा को प्रभावित करता है I लगातार एच.पी.वी. संक्रमण का अगर इलाज नहीं किया जाता है, तो 95 प्रतिशत गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर (सर्वाइकल कैंसर) का कारण बनता है।
रोकथाम के उपाय
सर्वाइकल कैंसर की रोकथाम हेतु सार्वजनिक जागरूकता को बढ़ावा देकर सूचना और सेवाओं तक सबकी पहुंच बढ़ानी होगी। एच.पी.वी. संक्रमण, सर्वाइकल कैंसर और एच.पी.वी. से संबंधित अन्य कैंसर को रोकने के लिए 9-14 वर्ष की उम्र में टीकाकरण एक अत्यधिक प्रभावी तरीका है।
यौनिक रूप से सक्रिय महिलाओं को स्क्रीनिंग परीक्षण कराने से एच.पी.वी. संक्रमण का पता लगाया जा सकता है, जिसका इलाज होने पर सर्वाइकल कैंसर से भी बचाव होता है।
यदि रोग की प्रारंभिक अवस्था में ही निदान और उपचार किया जाए तो सर्वाइकल कैंसर को ठीक किया जा सकता है I
महिला में निम्न लक्षण प्रकट हो रहे हों तो चिकित्सीय सलाह लें-
कार्यशाला के दौरान प्रबन्ध संकाय के डीन डॉ0 मुनीष मिश्रा, डॉ0 प्रवीन बिहारी श्रीवास्तव सहित छात्रावास की 100 से अधिक बालिकाओं एवं स्वैच्छिक कार्यकर्ताओं ने प्रतिभाग किया।
कार्यशाला के अन्त में डॉ. वीना सिंह ने मुख्य वक्ता डॉ0 मंजुषा एवं अनुभा गुलाटी सहित सभी प्रतिभागियों को धन्यवाद दिया।