Poet Conference : राणा का भाला भूल गये क्या उनका पौरुष याद नही….
1 min read
REPORT BY LOK REPORTER
AMETHI NEWS।
नव वर्ष मंगलमय रहे सबको सदा ही सर्वदा,अभिषेक नित करती रहें गंगा गोदावरी नर्मदा…….
शानदार कवि सम्मेलन का हुआ आयोजन
जिले के गौरीगंज स्थित शहबाजपुर में रविवार को श्री चन्द्र भवन शुक्ल इण्टर कालेज गौरीगंज तथा अवधी साहित्य संस्थान अमेठी के संयुक्त तत्वावधान में कवि सम्मेलन व सम्मान समारोह का शुभारम्भ अतिथियों द्वारा मां सरस्वती जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलन एवं डॉ केशरी शुक्ल अविग्य की वाणी वंदना से हुआ। अतिथियों का स्वागत करते हुए अध्यक्ष अवधी साहित्य संस्थान अमेठी डॉ अर्जुन पाण्डेय ने कहा कि हिन्दी साहित्य सम्वर्द्धन में गद्य एवं पद्य दोनों विधाओं की भूमिका अहम है।
अध्यक्षता करते हुए बस नरेन्द्र प्रताप शुक्ल ने पढ़ा – मिले जीवन को नव उत्कर्ष,करो तय अपने लक्ष्य सहर्ष। जिला विद्यालय निरीक्षक डॉ राजेश द्विवेदी ने पढ़ा तू आशा हो विश्वास तुम्ही प्राणों का स्पंदन हो,तुम्हीं मानवता के सम्बोधन हो। रामेश्वर सिंह ‘निराश’ ने पढ़ा राणा का भाला भूल गये क्या उनका पौरुष याद नही।
ज्ञानेन्द्र पाण्डेय अवधी मधुरस ज्ञानेन्द्र पाण्डेय ने पढ़ा अवधी हमरिउ अनु हम,अवधी हमरिउ बानु।हरिनाथ शुक्ल ‘हरि’ ने पढ़ा भाई चारा तो राम का देखो, पादुका बन्धु ले गया ढ़ोकर। चन्द्र प्रकाश मिश्र मटियारी ने पढ़ा अंधियारे में साथ भला क्या,देती मुझको मेरी छाया। राजेन्द्र शुक्ल अमरेश ने पढ़ा नव वर्ष मंगलमय रहे सबको सदा ही सर्वदा,अभिषेक नित करती रहें गंगा गोदावरी नर्मदा।श्रीनाथ शुक्ल ने पढ़ा छोड़ हमहू शहरिया अब अइबै ,किसनिया करैबै गोरिया।
ओज कवि अनिरुद्ध मिश्र ने पढ़ा बदलता है सदा जैसे कि दिन व रात होते हैं,समय ही जिन्दगी का फलसफा हमको सिखाता है।अर्चना ओजस्वी ने पढ़ा अपनी मां की करूं हर जनम अर्चना,जिसने दुःख का हरण कर दिया। श्रीनाथ मौर्य सरस ने पढ़ा छोड़ के मां की मूर्ति को गर असली मां को पूजा होता,सच कहता हूं सम्पूर्ण जगत में वृद्धाश्रम कहीं न होता। रामबदन शुक्ल ‘पथिक’ ने पढ़ा मलकिन तौ प्रधान होइ गयिन,हर घर कै मेहमान होइ गयिन।
अमर बहादुर सिंह ‘अमर’ ने पढ़ा हम तुम्हारे लिए,तुम हमारे लिए।प्राण में प्राण से प्राण प्यारे लिए। शब्बीर अहमद सूरी ने पढ़ा मोहब्बत को छुपाओगे कभी छुप नहीं सकती,कली है तो महकने से कभी भी रह नहीं सकती।डॉ केशरी शुक्ल अविग्य ने पढ़ा दिल में मोहब्बतों का भ्रम पालने वाले,कुछ फ्रिज में मिल रहे तो कुछ ड्रम में मिल रहे। जगदम्बा तिवारी ‘मधुर’ने पढ़ा कागा जल्दी अइहौ हमारे अंगना।
चिंतामणि मिश्र, सूर्य मणि ओझा, राजेश यादव ,इंदुमती तिवारी,चन्द्र प्रकाश पाण्डेय मंजुल, सुरेश चन्द्र शुक्ल ‘नवीन’, अभिजित तिवारी, सुनीता श्रीवास्तव, आशालता,बालकृष्ण शुक्ल,शीतला प्रसाद मिश्र,फतेहपुर बहादुर सिंह कसक, रामकुमारी संस्सृति,आशुतोष गुप्ता,रामशंकर सिंह, तेजभान सिंह,बालकवि आंद्रिया नीति आदि ने अपनी रसभरी कविताओं से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया।
समारोह में उपस्थित गणमान्य साहित्य प्रेमियों में भाजपा के जिला अध्यक्ष सुधांशु शुक्ल, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी संजय तिवारी,विषुव मिश्र, कैलाश शर्मा स्वामी नाथ पाल, डॉ सत्यदेव मिश्र, डॉ अभिमन्यु कुमार पाण्डेय, सत्येन्द्र प्रकाश शुक्ल, राजेन्द्र शुक्ल, डॉ लालता प्रसाद द्विवेदी, रीता पाण्डेय आदि की उपस्थिति विशेष उल्लेखनीय रही।
कवि गोष्ठी एवं सम्मान समारोह का संचालन प्रख्यात कवि समीर मिश्र ने किया। समारोह के समापन पर विद्यालय के प्रबन्धक श्रीराम शुक्ल ने सभी के प्रति आभार व्यक्त किया।